दर्द और खुशिया बया करती माहि दी शायरी
दोस्तों सोशल मिडिया आज जिस तरह हम सब का नए दौर का साथी बन गया हैं ऐसा लगता हैं हमने अपना एक घर बना लिया हो इस सोढाल मिडिया की दुनिया में . बताते चले की फेसबुक इस समय सोशल मिडिया पर सबसे लोकप्रिय हैं. और यहाँ हर तरह की सोच वाले लोग मिलते हैं.. लोग एक दुसरे के इतना करीब आ जाते है जितना शायद रियल ज़िन्दगी में करीब आ पाना मुश्किल हो. फेसबुक पर हम अपने अन्दर छुपी बाते पोस्ट के माध्यम से एक दुसरे को बताते हैं. कुछ तो ऐसे जो अपने दिल की बातो को फेसबुक के पन्ने पर लिख देते हैं. और कुछ ऐसे हैं जो दूसरो की लिखी शायरी और पोस्ट को अपनी टाइम लाइन पर शेयर या पोस्ट कर के अपने दिल की बाते बोलते हैं. फेसबुक पर कोई अपना दर्द दिखाता है तो कोई अपनी ख़ुशी जाहिर करता हैं.
आज हम फेसबुक पर मिली अपनी मोह्बोली बहन माहि लाम्बा की बात कर रहे हैं. जिन्होंने अपने जीवन में काफी संघर्ष किया और वो आज एक अच्छे मुकाम पर हैं. सदैव दूसरी की हेल्प करना उनका खास स्वभाव हैं और साथ ही अपना कुछ पल फेसबुक पर भी देती हैं और उन्हें अपने दिल की बात अपने अंदाज़ में लिखने का भी शौख हैं वो हमेशा अपने दर्द को फेसबुक के पन्नो पर बयां करती हैं तो देर कैसी पढ़ते है आज माहि लम्बा द्वारा की गयी वो ख़ास शायरी पोस्ट. फेसबुक के पन्नो से .
माहि दी शायरी फेसबुक के पन्नो से |
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दीदार तो एक ख़्वाब ठहरा, बात भी बेशक़ न हो, बस एक तेरी ख़ैरियत का, पैग़ाम मिल जाया करे! |
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काश वो "हल्दी" कहीं मिल जाये,,जिसे पीने से...! वक्त का दिया हर ज़ख्म भर जाये.....!! |
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सितम पर सितम किये जाते हो साहिब ओर भोलापन तो देखिये सितम भी मुस्काते हुए... |
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मेरी महोब्बत की मजार तो आज भी वही है.. बस तेरे ही सजदे की जगह बदल गई.... |
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है रूह को समझना भी जरुरी महज हाथो को थामना साथ नही होता ! |
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बेवज़ह बिछड तो गये हो....बस इतना बता दो... कि.. सुकून मिला या नहीं... |
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किसी की बर्बादी का किस्सा सुनाया नहीं जाता, एक बार जी भर के देख लो इस चेहरे को, क्योंकि बार बार कफ़न उठाया नहीं जाता। |
कोई हमदर्द ज़माने में न पाया...... "साहब" दिल को हसरत ही रही.... कोई हमारा होता ! |
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बहुत दिनों बाद तेरी महफ़िल में कदम रखा है, मगर, नजरो से सलामी देने का तेरा अंदाज़ नही बदला |
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लोग कहते हैं तेरा इत्र लाजवाब है .. |
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इस दुनिया में कोई किसीका हमदर्द नही होता लोग जनाजे के साथ भी होते हैं तो सिर्फ... अपनी हाजरी गिनवाने के लिये। |
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क्यो ना मैं दूँ ? आपने साँसों को अल्प-विराम. ए जो चलती है बस उसीके लिये |
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बरसों सजाते रहे हम किरदार को मगर.. कुछ लोग बाज़ी ले गए सूरत सँवार कर.. |
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महफ़िल में कुछ तो सुनाना पड़ता है ग़म छुपा कर मुस्कुराना पड़ता है कभी हम भी उनके अज़ीज़ थे आज-कल ये भी उन्हें याद दिलाना पड़ता है.. |
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अगर ख़ामोशी लम्बी हो जाये तो जुदाई बन जाती है। |
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कब दोगे 'रिहाई' मुझे इन यादोँ की 'कैद' से....... ऐँ 'इश्क' अपने 'जुल्म' देख और मेरी 'उम्र' देख......... |
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❤नींद से क्या शिकवा .. जो आती नहीं....* *❤❤कसूर तो .... उस चेहरे का है जो सोने नहीं देता |
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*यूँ शक ना किया करो मेरी मोहब्बत पे..💕* *💕तुम्हारे बिना भी हम तुम्हारे ही रहते है |
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तुझसे मिलना तो अब ख्वाब सा लगता है इसलिए मैंने तेरे इंतज़ार से मोहब्बत की है.. |
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हम लापरवाह सही तुम्हे याद तो करते हैं आदत बुरी ज़रूर है दिल के बुरे नही हैं |
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हो सके तो #सम्भाल कर #रखना, वो #लम्हे जो हमने साथ बिताए थे, क्यूं कि हम #याद तो आएंगे मगर #लौट कर नही ।।. |
माहि दी पोस्ट फेसबुक के पन्नो से |
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जी लेंगे तेरे "अहसासों में, कि मेरी जिन्दगी तुम हो,
इंतजार मेरा मुकद्दर ही सही,... मेरी "आरज़ू " तुम और सिर्फ तुम हो ... |
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कभी रुक न सकेगा तुमसे सिलसिला मेरी मोहब्बत का
ऐ "जान" .. मेरा इश्क तेरी "हां" या "ना" का मोहताज नही |
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वक़्त ए रुख्सत जब कोई कहता है ख़ुदा हाफ़िज़
निगाहें तकती रहतीं है और दिल मजबूर होता है।। |
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गर पत्थर है तू तो मुझे , पत्थर कबूल है
आ तेरे सदके मै अपनी, सारी इबादते कर दू। |
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तकलीफ इस जिगर में बदन में थकान है ये जिन्दगी नही है गमों की दुकान है | |
💕 प्रीत अधूरी तुम बिन ![]() तुम बिन अधूरा मेरा संसार मन चंचल तुझे पाना चाहे और मांगे मेरा तेरा प्यार |
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मोहब्बत का महीना है, कोई हमसे भी गठबंधन कर लीजिए |
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कुछ इस तरह से जिये, जिन्दगी बसर ना हुई
तुम्हारे बाद किसी रात की, सहर ना हुई
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मुझे क़बूल है.. हर दर्द.. हर तकलीफ़ तेरी चाहत में.. सिर्फ़ इतना बता दो.. क्या तुम्हें मेरी मोहब्बत क़बूल है..? |
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#चुका देंगे #तुम्हें तुम्हारे #हर लम्हों #की कीमत #हुजूर. * #पहले उन #लम्हों पे #किया हमारा #ऐतबार तो #लौटा दो... |
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बरसो से दम घूँट रहा है, मौत का पता ही नही कब आयेगी |
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नही पसन्द इश्क मे मिलावट मुझको, अगर वो मेरा है, तो ख्वाब भी बस मेरे देखे.. |
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मुस्कुरा तो देते है अश्क भरे आँखो से.. पर सच कहे, हम है हारे आपने हालत से.. |
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इजहार ए इश्क करूँ या पुछलूं तबियत उनकी .... ऐ दिल कोई तो बहाना बता उनसे बात करने का |
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तावीज हमने भी बांधा था उनकी खैरियत के लिए बस धागा कच्चा निकला इस मिलावट के दौर मे. |
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आज फिर उसने अपनी जुल्फों को खुला रख छोड़ा है....!! आज फिर बे मौत मरेंगे उसके शहर वाले...!! |
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ग़र ज़िन्दगी कहनी हो दो शब्दों में तो मैं कहूँगी ... तुम्हारे सीने पर टिका हुआ सर मेरा |
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अपनी ज़मीं , खुद अपना आसमाँ हूँ मैं ज़रा गौर से देखिये मुझको एक मुकम्मल जहाँ हूँ मैं |
माही के खास पल |
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सुनो...जाँनू...
खत लिखे बहुत तुम्हे मैंने. देने के लिये.
कभी तुम नहीे मिले . कभी मौका नही मिला..
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सुनो...जाँनू...
💘 हमारे और तुम्हारे 💖 इश्क का..
चरचा है अब 💘 शहरो 💕 में...!
💘 कोई सुनता 💓 नही 💓 नही..
अब लैला-मजनूँ 💋 की कहानी..
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सुनो...जाँनू...
चले भी आओ तसुव्वर में..
मेहरबां बन कर...
* कि आज इंतज़ार 💘 तेरा.. दिल को हद से ज्यादा है..!
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सुनो...जाँनू...
उफ़्फ़..इंतज़ार..मैं..इंतज़ार और कितना इंतज़ार..
कितने इंतज़ार के बाद होगा आपका दीदार..
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सुनो...जाँनू...
तड़प ये दिन रात की..कसक ये बिन बात की..
बता ये रोग है कैसा.. सजन अब तो बता दे..
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सुनो...जाँनू...
🌻 ये नाजो-हुस्न तो देखो..दिल को तड़पाये जाते है..
🌻 नजरे मिलाते 💓 नही..बस मुस्कुराये जाते है..!
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माहि के कुछ खास पोस्ट |
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धुआँ धुआँ सा लग रहा है शहर में...... लगता है किसी का इश्क़ जल रहा है ठंड में. |
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''ए-जिन्दग़ी'' बहुत थक गई हूँ अब तो में सोना चाहती हूँ, सिर्फ़ तेरी ही बाँहों में पनाह चाहती हूँ । |
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हमारी_कलाई_यू_न_थामा_करो, 🌹 #बात_चूड़ियों_की_नही, #जज्बात_मचल_जाते_है ! |
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तुम बताओ तो मुझे किस बात की सजा देते हो। मंदिर में आरती और महफ़िल में शमां कहते हो। मेरी किस्मत में भी क्या है लोगो जरा देख लो ,तुम या तो मुझे बुझा देते हो या फिर जला देते हो |
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*"परखा तो बहुत गया मुझको."यारों...! *लेकिन? *बस दर्द ये है की समझा ही नहीं गया... |
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ये दिसम्बर तो.. .बातों का मौसम था... .दुआ करो की जनवरी..बाहों का मौसम हो. |
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आपके आने से जिंदगी कितनी खुबसूरत हैं ! दिल में बसाई हैं जो वो आपकी ही सूरत हैं !! दूर जाना नहीं कभी हमसे भूल कर भी.....! हमें हर कदम पर आपकी जरुरत हैं......!! |
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अगर_सुकुन_मिलता_है उसे_हम से_जुदा_होकर.♡ . तो दुआ है ख़ुदा_से... _ कि_उसे कभी हम_ना_मिलें ❌.. |
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कोइ मेरी रूह को जला कर यूँ चला गया है, देखो ना धुआँ धुआँ सी हो गइ है मेरी जिंदगी .. |
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