दोस्तों लाज़वाब शायरी के इस Post की Topic Waqt Shayari हैं. इसमें आप पढ़ सकते हैं. वक्त शायरी 2 लाइन, वक्त शायरी in Urdu, Waqt Status, Time Status, वक्त शायरी 4 लाइन, पर बनी बेजोड़ शानदार वक्त शायरी को, मित्रो आशा करता हूँ कि यह पोस्ट आप सभी शायरी के चाहने वालो को बेहद पसंद आएगी.

आईये आज पढ़ते हैं अब Waqt Shayari के इस शानदार कलेक्शन को जो हमें वक़्त की कद्र करना सिखाएगा और साथ ही उसकी कीमत बताएगा तो देर कैसी अपने पसंद की शायरी को शेयर करते हैं सोशल मिडिया के प्लेटफार्म पे अपने दोस्तों को टैग करके।
120+ वक्त शायरी 2 लाइन - Waqt Status
⏱️ 1– |
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"वक्त की धुंध में छुप जाते हैं ताल्लुक, बहुत दिनों तक किसी की आँख से ओझल ना रहिये...!" |
⏱️ 2– |
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"आदमी के शब्द नहीं, वक्त बोलता है...!" |
⏱️ 3– |
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"शाम का वक्त हो और 'शराब' ना हो, इंसान का वक्त इतना भी 'खराब' ना हो...!" |
⏱️ 4– |
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"ना हँसना किसी के बुरे वक्त पे दोस्तों, ये वक्त है जनाब चेहरे याद रखता है...!" |
⏱️ 5– |
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"उलझ गया था तुम्हारे दुपट्टे का कोना मेरी घड़ी से, वक्त तब से जो रुका है तो अब तक रुका ही पड़ा है...!" |
⏱️ 6– |
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"कभी वक्त निकाल के हमसे बातें करके देखना, हम भी बहुत जल्दी बातों मे आ जाते है...!" |
⏱️ 7– |
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"उसे शिकायत है कि मुझे बदल दिया वक्त ने, कभी खुद से भी सवाल करना कि क्या तुम वही हो...?" |
⏱️ 8– |
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"वक्त इशारा देता रहा और हम इत्तेफाक समझते रहे, बस यूँही धोके खाते रहे, और इस्तेमाल होते रहे...!" |
⏱️ 9– अनवर साबरी |
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"वक़्त जब करवटें बदलता है, फ़ित्ना-ए-हश्र साथ चलता है...!" |
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⏱️ 10– |
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"कुछ इस कदर खोये हैं तेरे ख्यालो में, कोई वक़्त भी पुछता है तो तेरा नाम बता देते हैं...!" |
⏱️ 11– अहमद ज़फ़र |
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"कौन डूबेगा किसे पार उतरना है 'ज़फ़र' फ़ैसला वक़्त के दरिया में उतर कर होगा...!" |
⏱️ 12– |
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"जिन किताबों पे सलीक़े से जमी वक़्त की गर्द, उन किताबों ही में यादों के ख़ज़ाने निकले...!" |
⏱️ 13– |
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"हर वक़्त दिल को जो सताए ऐसी कमी है तू, मैं भी ना जानू की इतनी क्यूँ लाज़मी है तू...!" |
⏱️ 14– दिवाकर राही |
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"वक़्त बर्बाद करने वालों को, वक़्त बर्बाद कर के छोड़ेगा...!" |
⏱️ 15– मोहसिन ज़ैदी |
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"जैसे दो मुल्कों को इक सरहद अलग करती हुई, वक़्त ने ख़त ऐसा खींचा मेरे उस के दरमियाँ...!" |
⏱️ 16– परवीन शाकिर |
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"चेहरा ओ नाम एक साथ आज न याद आ सके, वक़्त ने किस शबीह को ख़्वाब ओ ख़याल कर दिया...!" |
⏱️ 17– |
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"उसकी कदर करने में जरा भी देर मत करना, जो इस दौर में भी आपको वक्त देता हो...!" |
120+ वक्त शायरी 2 लाइन - Waqt Status⏱️ 18– |
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"दिल चाहता है हर वक़्त तेरे सदके उतारता रहूँ, भला इस कदर भी हसीन होता है महबूब किसी का...!" |
⏱️ 19– |
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"कैसे कहूँ कि इस दिल के लिए कितने खास हो तुम, फासले तो कदमों के हैं पर, हर वक्त दिल के पास हो तुम।।...!" |
Waqt Shayari ⏱️ 20– |
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"पैसा कमाने के लिए इतना वक़्त खर्च ना करो की, पैसा खर्च करने के लिए ज़िन्दगी में वक़्त ही न मिले...!" |
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⏱️ 21– निदा फ़ाज़ली |
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"सब कुछ तो है क्या ढूँडती रहती हैं निगाहें, क्या बात है मैं वक़्त पे घर क्यूँ नहीं जाता...!" |
⏱️ 22– |
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"वक़्त मेरी तबाही पे हँसता रहा, रंग तकदीर क्या क्या बदलती रही...!" |
⏱️ 23– |
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"वक्त तो रेत है फिसलता ही जायेगा, जीवन एक कारवां है चलता चला जायेगा, मिलेंगे कुछ खास इस रिश्ते के दरमियां, थाम लेना उन्हें वरना कोई लौट के न आयेगा...!" |
⏱️ 24– |
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"सब एक नज़र फेंक के बढ़ जाते हैं आगे, मैं वक़्त के शो-केस में चुप-चाप खड़ा हूँ...!" |
⏱️ 25– |
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"सियाह रात नहीं लेती नाम ढलने का, यही तो वक़्त है सूरज तेरे निकलने का...!" |
⏱️ 26– अली अहमद जलीली |
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"रोके से कहीं हादसा-ए-वक़्त रुका है, शोलों से बचा शहर तो शबनम से जला है...!" |
⏱️ 27– |
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"उस वक़्त मुझे चौंका देना, जब रँग में महफ़िल आ जाए...!" |
⏱️ 28– शारिक़ कैफ़ी |
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"सब आसान हुआ जाता है, मुश्किल वक़्त तो अब आया है...!" |
⏱️ 29– |
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"यूँ तो पल भर में सुलझ जाती है उलझी ज़ुल्फ़ें, उम्र कट जाती है पर वक़्त के सुलझाने में...!" |
⏱️ 30– शकील बदायुनी |
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"उन का ज़िक्र उन की तमन्ना उन की याद, वक़्त कितना क़ीमती है आज कल...!" |
⏱️ 31– |
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"वो ख़लिश जिस से था हंगामा-ए-हस्ती बरपा, वक़्त-ए-बेताबी-ए-ख़ामोश हुई जाती है...!" |
Time Hindi Status
⏱️ 32– |
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"तुम ने वो वक्त कहां देखा जो गुजरता ही नहीं, दर्द की रात किसे कहते हैं तुम क्या जानो...!" |
⏱️ 33– बिस्मिल अज़ीमाबादी |
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"अल्लाह तेरे हाथ है अब आबरू-ए-शौक़, दम घुट रहा है वक़्त की रफ़्तार देख कर...!" |
⏱️ 34– |
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"वक्त नहीं लगता दिल को दिल तक आने में, पर सदियाँ लग जाती है एक रिश्ता भुलाने में...!" |
⏱️ 35– |
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"सीख जाओ वक्त पर किसी की चाहत की कदर करना, कहीं कोई थक ना जाये तुम्हें एहसास दिलाते दिलाते...!" |
⏱️ 36– |
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"वक्त चाहत नही होती तो तेरे करजज़ार होते, एक पल के लिए भी हम तलाबदार न होते...!" |
⏱️ 37– |
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"वक़्त रहते इश्क़ की कदर करें, ताज़महल दुनिया ने देखा है मुमताज़ ने नहीं...!" |
⏱️ 38– |
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"आप के दुश्मन रहें वक़्त-ए-ख़लिश सर्फ़-ए-तपिश, आप क्यों ग़म-ख़्वारी-ए-बीमार-ए-हिजराँ कीजिये...!" |
⏱️ 39– फ़र्रुख़ जाफ़री |
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"कोई ठहरता नहीं यूँ तो वक़्त के आगे, मगर वो ज़ख़्म कि जिस का निशाँ नहीं जाता...!" |
⏱️ 40– |
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"कल मिला वक़्त तो ज़ुल्फ़ें तेरी सुलझा लूंगा, आज उलझा हूँ ज़रा वक़्त के सुलझाने में...!" |
Waqt Status
⏱️ 41– |
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"जब दिल पे छा रही हों घटाएँ मलाल की, उस वक़्त अपने दिल की तरफ़ मुस्कुरा के देख...!" |
⏱️ 42– मीर हसन |
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"सदा ऐश दौराँ दिखाता नहीं, गया वक़्त फिर हाथ आता नहीं...!" |
⏱️ 43– |
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"वक्त भी वक्त पर अपनी, कदर समझा देता है...!" |
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⏱️ 44– |
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"वक़्त का खास होना ज़रुरी नहीं, खास लोगों के लिये वक़्त होना ज़रुरी हैं...!" |
⏱️ 45– |
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"ना उसने मुड़ कर देखा ना हमने पलट कर आवाज दी, अजीब सा वक्त था जिसने दोनो को पत्थर बना दिया...!" |
Waqt Quotes
⏱️ 46– |
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"लोग बहुत अच्छे होते हैं, अगर हमारा वक्त अच्छा हो तो...!" |
⏱️ 47– |
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"वक्त नहीं है किसी के पास, जब तक न हो कोई मतलब खास...!" |
⏱️ 48– |
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"रात तो वक्त की पाबंद है, ढल जायेगी, देखना तो ये है दीयों का सफर कितना होगा...!" |
⏱️ 49– |
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"बख्शे हम भी न गए, बख्शे तुम भी न जाओगे, वक्त जानता है हर चेहरे को बेनकाब करना...!" |
⏱️ 50– |
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"बातों से सीखा है हमने आदमी को पहचानने का फन, जो हल्के लोग होते है, हर वक्त बातें भारी भारी करते हैं...!" |
⏱️ 51– |
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"जिन्दगी जख्मो से भरी है वक्त को मरहम बनाना सीख लो, हारना तो है एक दिन मौत से फिलहाल जिन्दगी जीना सीख लो...!" |
⏱️ 52– |
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"वक्त की कैद में सिमटे जिंदगी के पन्नें, कुछ रंगहीन और कुछ रंगीन...!" |
⏱️ 53– |
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"माँगना ही छोड़ दिया हमने वक्त किसी से, क्या पता उनके पास इनकार करने का भी वक्त ना हो...!" |
2 Line Waqt Quotes⏱️ 54– |
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"एहसान तुम्हारे एकमुश्त, किश्तों में चुकाए हैं हमनें, कुछ वक्त लगा पर अश्कों के, कुछ सूद चुकाए हैं हमनें...!" |
⏱️ 55– |
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"जैसे ही तू जुदा हुआ वक़्त का वार चल गया, तारे कही भटक गए चाँद कही निकल गया...!" |
⏱️ 56– |
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"वक्त ढूँढ रहा था मुझे हाथों में खंजर लिए, मैं छुप गई आईने में आँखों में समंदर लिए...!" |
⏱️ 57– |
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"जिंदगी ने मेरे मर्ज का एक इलाज बताया था, वक्त को दवा और ख्वाहिशों का परहेज बताया था...!" |
⏱️ 58– |
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"वक्त, मौसम और लोगों की एक ही फितरत होती है, कब, कौन और कहाँ बदल जाए कुछ कह नहीं सकते...!" |
⏱️ 59– |
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"जी लो हर लम्हा बीत जाने से पहले, लौट कर यादे आती है वक्त नही...!" |
⏱️ 60– |
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"नये-नये रिश्तों में नई-नई सी महक साथ हैं, अब कौन कितनी देर महकेगा, ये वक्त की बात है...!" |
⏱️ 61– |
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"ना देख पीछे मुड़कर वक्त को वो गुजर गया, सुनो हथेली में एक बूँद अश्क की कब तक संभालोगे...!" |
⏱️ 62– क़तील शिफ़ाई |
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"राब्ता लाख सही क़ाफ़िला-सालार के साथ, हम को चलना है मगर वक़्त की रफ़्तार के साथ...!" |
वक्त शायरी 2 लाइन ⏱️ 63– |
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"नफरत है इस रविवार से मुझे, ये दिलाती है और भी तेरी याद खाली वक्त में...!" |
⏱️ 64– |
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"वक्त सारी जिंदगी में दो ही गुजरे हैं कठिन, इक तेरे आने से पहले, इक तेरे आने के बाद...!" |
⏱️ 65– |
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"कलाई पर घड़ी बांध लेने से वक्त नहीं थमता, उसे जीना पड़ता है, ताकि लम्हा यादो मै कैद हो जाये...!" |
⏱️ 66– |
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"अजनबी शहर में एक दोस्त मिला, वक्त नाम था, पर जब भी मिला मजबूर मिला...!" |
⏱️ 67– अख़्तर होशियारपुरी |
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"गुज़रते वक़्त ने क्या क्या न चारा-साज़ी की, वगरना ज़ख़्म जो उस ने दिया था कारी था...!" |
⏱️ 68– |
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"तेरा साथ छूटा है सम्भलने में वक्त तो लगेगा, हर चीज़ इश्क़ तो नहीं की इक पल में हो जाए...!" |
⏱️ 69– |
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"वक्त जब भी शिकार करता है, हर दिशा से वार करता है...!" |
⏱️ 70– |
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"बदल जाते हैं वो लोग भी वक्त की तरह, जिन्हें हम हद से ज्यादा वक़्त देते हैं...!" |
120+ वक्त शायरी 2 लाइन - Waqt Status⏱️ 71– |
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"वक्त का सितम कम था जो तुम भी शामिल हो गई, पर जो भी हो तुम दोनो ने मिलकर बहुत रूलाया है मुझे...!" |
⏱️ 72– |
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"दम तोड़ देती है,माँ बाप की ममता उस वक्त, जब बच्चे कहते है, तुमने हमारे लिए किया ही क्या है...!" |
⏱️ 73– हफ़ीज़ जौनपुरी |
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"गया जो हाथ से वो वक़्त फिर नहीं आता, कहाँ उमीद कि फिर दिन फिरें हमारे अब...!" |
⏱️ 74– ख़ुर्शीद रिज़वी |
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"तू मुझे बनते बिगड़ते हुए अब ग़ौर से देख, वक़्त कल चाक पे रहने दे न रहने दे मुझे...!" |
⏱️ 75– |
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"इक दुकान ऐंसी भी है जहाँ तुम मुल्क भी खरीद सकते हो, वक्त मिले तो आना दिल्ली में, वो भी दुकान दिखायेंगे तुम्हें...!" |
⏱️ 76– |
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"मेरे साथ बैठकर वक्त भी रोया एक दिन, बोला बन्दा तु ठिक है. मै ही खराब चल रहा हूँ...!" |
⏱️ 77– |
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"हम वक्त गुजारने के लिए दोस्तों को नही रखते, दोस्तों के साथ रहने के लिए वक्त रखते है...!" |
⏱️ 78– |
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"अभी साथ था अब खिलाफ है, वक्त का भी आदमी जैसा हाल है...!" |
Waqt Shayari in Urdu
⏱️ 79– |
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"सब अपनी गरज़ के यार है तू दोस्ती की बात न कर, वक्त बड़ा बेरहम है ये तुझे भी आईना दिखाएगा...!" |
⏱️ 80– |
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"वो जो कपडे बदलने का शौक रखते थे, आखिरी वक्त न कह पाये कफ़न ठीक नही...!" |
⏱️ 81– |
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"आज दिल कर रहा है बच्चों की तरह रूठ ही जाऊँ, फिर सोचा वक्त का तकाजा है मनायेगा कौन...!" |
⏱️ 82– |
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"दर्द बयां करना है तो शायरी से कीजिए जनाब, लोगों के पास वक्त कहां, एहसासों को सुनने का...!" |
⏱️ 83– |
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"रोना तो खूब चाहता था, पर ज़िम्मेदारीयों ने इतना वक्त भी ना दिया मुझे...!" |
⏱️ 84– |
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"बुरे वक्त में ही सबके असली रंग दिखते हैं, दिन के उजाले में तो पानी भी चांदी लगता है...!" |
⏱️ 85– |
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"वक्त ने बदल दी, तेरे मेरे रिश्ते की परिभाषा, पहले दोस्ती, फिर अपनापन और अब अजनबी सा अहसास...!" |
⏱️ 86– |
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"काश इस गुमराह दिल को ये मालूम होता कि, मोहब्बत उस वक्त तक ही दिलचस्प होती है जब तक नहीं होती है...!" |
⏱️ 87– |
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"जिन नोटों की खातिर कुछ लोग बदल गये, आज वक्त इतना बदल गया की वो नोट ही बदल गये...!" |
⏱️ 88– |
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"हार जाउँगा मुकदमा उस अदालत में, ये मुझे यकीन था, जहाँ वक्त बन बैठा जज और नसीब मेरा वकील था...!" |
Time Hindi Status⏱️ 89– |
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"हर वक्त मेरा वहम नहीं जाता, एक बार और कह दो की तुम मेरे हो...!" |
⏱️ 90– नासिर काज़मी |
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"वक़्त अच्छा भी आएगा 'नासिर' ग़म न कर ज़िंदगी पड़ी है अभी...!" |
⏱️ 91– |
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"ज़िन्दगी की जरूरतें समझिए वक्त कम है फरमाइश लम्बी हैं, झूठ-सच, जीत-हार की बातें छोड़िये दास्तान बहुत लम्बी है...!" |
⏱️ 92– |
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"जख्म कुरेदता है फिर मरहम लगाता है, वक्त बेरहम है पर हकीम सबसे अच्छा है...!" |
⏱️ 93– |
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"बदलती रहती हैं हकीकतों की बारिश वक्त के साथ, काश उम्मीदों के घरौंदे समझ के पत्थरों से बनातें...!" |
⏱️ 94– |
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"बंद घड़ियाँ भी दिखाऐं वक्त दिन में दो दफ़ा, चालू घड़ियाँ भी हमारे वक्त से क्यूँ हैं खफ़ा...!" |
वक्त शायरी 2 लाइन⏱️ 95– |
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"वक्त बदलते देर नहीं लगती, ये सब कुछ भुला भी देता है सिखा भी देता है...!" |
⏱️ 96– |
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"खूब करता है, वो मेरे ज़ख्म का इलाज, कुरेद कर देख लेता है और कहता है वक्त लगेगा...!" |
⏱️ 97– |
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"वक्त की सीढ़ियों पे उम्र तेज चलती है, जवां रहोगे कोई शौक पाल कर रक्खो...!" |
⏱️ 98– |
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"वक्त एक सा नहीं रहता सुन लो ऐ दोस्त मेरे, रोना तो उन्हें भी पड़ेगा ही जो औरों को रुलाते हैं...!" |
⏱️ 99– |
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"मैं तो वक्त से हार कर सर झुकाएँ खड़ा था, सामने खड़े कुछ लोग ख़ुदको बादशाह समझने लगे...!" |
⏱️ 100– |
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"उदास जिन्दगी, उदास वक्त, उदास मौसम, कितनी चीजो पे इल्जाम लगा है तेरे ना होने से...!" |
⏱️ 101– |
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"प्यार अगर सच्चा हो तो कभी नहीं बदलता, ना वक्त के साथ ना हालात के साथ...!" |
⏱️ 102– |
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"तो क्या हुआ गर महंगे खिलौने के लिए जेब में पैसे नहीं, मैं वक्त देता हूँ मेरे बच्चों को जो अमीरों को मयस्सर नहीं...!" |
⏱️ 103– |
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"कौन कहता है कि वक्त बहुत तेज है, कभी किसी का इंतजार तो करके देखो...!" |
2 लाइन वक्त शायरी⏱️ 104– |
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"कितना भी समेट लो हाथों से फिसलता ज़रूर है, ये वक्त है दोस्तों बदलता ज़रूर है...!" |
⏱️ 105– |
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"लोगों पर भरोसा करते वक्त ज़रा सावधान रहिये, क्युकि फिटकरी और मिश्री एक जैसे ही नजर आते है...!" |
⏱️ 106– |
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"वक्त-वक्त पर खुद में बदलाव जरुरी है, तभी जाकर जिन्दगी का दौर बदलेगा...!" |
⏱️ 107– |
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"वक्त तो खैर वक्त पे बदलता है, लेकिन इन्सान बे वक्त बदल जाते है...!" |
⏱️ 108– |
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"फुर्सत निकालकर आओ कभी मेरी महफ़िल में, लौटते वक्त दिल नहीं पाओगे अपने सीने में...!" |
⏱️ 109– |
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"जहाँ चिराग की जरूरत हुई वहाँ मैं आफताब लेकर आयी हूँ, कुछ बारिशें वक्त पर न हो सकीं तो अब सैलाब लेकर आयी हूँ...!" |
⏱️ 110– |
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"हसरतें कुछ और, वक्त की इल्तजा कुछ और, कौन जी सका है, अपने मुताबिक ज़िन्दगी...!" |
⏱️ 111– |
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"मोहब्बत, परवाह और थोड़ा वक्त, यही वो दौलत है जो अक्सर हम तुमसे माँगते हैं...!" |
⏱️ 112– |
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"मेरी भी कहानी लिखेगा कोई इक दिन, वक्त ने मुझे क्या से क्या बना दिया...!" |
⏱️ 113– |
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"चलिए कुछ बचकानी बातें करते है, हर वक्त की समझदारी तो बोझ है...!" |
⏱️ 114– |
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"लोग कहते है कि वक्त हर ज़ख्म को भर देता है, पर किताबों पर धूल जमने से कहानी बदल नहीं जाती...!" |
⏱️ 115– |
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"धीरज का दामन पकड़े पढ़ लेंगे खामोशियों को, अभी उलझनों में उलझे हैं वक्त लगेगा गिर कर संभलने में...!" |
⏱️ 116– |
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"बिछडते वक्त मेरे ऐब गिनाये उसने, सोचता हूँ जब मिला था तब कौनसा हुनर था मुझमें...!" |
⏱️ 117– |
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"सरफरोशी की तमन्ना अब हमारे दिल में हैं, देखना हैं जोर कितन बाजू-ए-कातिल में हैं, वक्त आने दे बता देंगे तुझे ए आसमां, हम अभी से क्या बताएं क्या हमारे दिल में हैं...!" |
⏱️ 118– |
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"घर से निकलते वक्त रोज़, एक मसला बड़ा हो जाता है, कौन-सा चेहरा पहन कर निकलें, ये सवाल खड़ा हो जाता है...!" |
⏱️ 119– |
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"वक्त के मरहम पे आखिर फिर भरोसा हो गया है, जागता नासूर था एक आज थक के सो गया है, राहतों की चाँदनी मेरे मुकद्दर में लिखो अब, जिंदगी फिर से मिलेगी बीज मैंने बो दिया है...!" |
⏱️ 120– |
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"जबआँख खुले तो धरती हिन्दुस्तान की हो जब आँख बंद हो तो यादेँ हिन्दुस्तान की हो हम मर भी जाए तो कोई गम नही लेकिन मरते वक्त मिट्टी हिन्दुस्तान की हो...!" |
दोस्तों आशा करता हूँ की "120+ वक्त शायरी 2 लाइन - Waqt Status - Time Hindi Status" यह भी पोस्ट पसंद आया होगा आप सभी को और आपने पढ़ा होगा "Waqt Shayari" वक्त शायरी in Urdu, Waqt Statue, Time Hindi Status, वक्त शायरी 4 लाइन, के इस कलेक्शन को दोस्त अगर यह पोस्ट आपके दिल को छू लिया हो तो इसे जरूर से शेयर करे ताकि इस कलेक्शन को और भी दोस्त पढ़ सके. धन्यवाद आप सभी का आपने इस पोस्ट को अपना प्यार दिया. |
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